अधिगृहीत भूमि खाली करवाने पहुंचे पुलिस व प्रशासनिक अधिकारियों एवं व्यापारियों के बीच हुई झड़प

पुलिस ने मामूली बल प्रयोग कर विरोध कर रहे व्यापारियों को खदेड़ा, व्यापारियों का आरोप बिना मुआवजा दिए गिरा दिए गए घर एवं दुकानें ...


प्रशासन ने तमाम गरीबों को कर दिया घर से बेघर ...


कुमारगंज, अयोध्या ।। फैजाबाद रायबरेली हाईवे के चौड़ीकरण को लेकर संड़क के दायरे में आ रहे अतिक्रमण को कार्यदाई संस्था पीएनसी व पुलिस प्रशासन की मौजूदगी में उसे हटाए जाने को लेकर कुमारगंज व्यापारी व पुलिस प्रशासन आमने-सामने हो गया । जिसके बाद पुलिस ने बर्बरता पूर्वक हल्का बल प्रयोग करते हुए उन्हें वहां से खदेड़ा फिर कार्यदायी संस्था द्वारा दोबारा जेसीबी मशीन से अतिक्रमण हटाने का कार्य शुरू हुआ।

कुमारगंज बाजार में ओवर ब्रिज का निर्माण हो रहा है जिसके लिए 65 फीट जमीन का अधिग्रहण किया गया है । मंगलवार को अतिक्रमण हटाने के लिए एसडीएम मिल्कीपुर दिग्विजय प्रताप सिंह ,पुलिस क्षेत्राधिकारी राकेश कुमार श्रीवास्तव , पीएसी जवानों के साथ बाजार में पहुंच गए जिसका कुछ व्यापारियों ने एसडीएम से अभी मुआवजा न मिलने की बात कह कर दुकानों को तोड़ने से मना कर दिया।

लेकिन मौजूद अधिकारियों ने उनकी एक भी नहीं सुनी वहीं कुमारगंज पुलिस ने कुमारगंज कस्बा के सम्मानित दो व्यापारियों मनीष कसौधान व दिनेश कुमार कौशल को बलवा अनहोनी के चलते पुलिस थाने में लाकर बैठा लिया। हिरासत में लिए गए दोनों व्यापारियों का आरोप है कि पुलिस ने उनके साथ अभद्रता किया ।

इसके विरोध में बाजार के लोगों ने अपनी अपनी दुकानें बंद कर कर दी ।प्रशासन के काफी मान मनौव्वल के बाद फिर से दुकाने खोली गई । सीओ राकेश श्रीवास्तव ने बताया कि कई बार कहने के बावजूद भी लोग अपनी दुकानों को नहीं तोड़ रहे थे। जिसके बाद पुलिस व प्रशासन की मौजूदगी में कार्यदायी संस्था ने अतिक्रमण को हटवाया मौके पर शांति व्यवस्था कायम है ।

वही कस्बा से व्यापारियों ने कहा कि अभी भी कुछ लोगों को मुआवजा अभी नहीं मिला है और उनका मकान भी गिरा दिया गया है ।जब कार्यदायी संस्था से बात की जाती है तो उनके द्वारा कहा जाता है कि आप जाकर के कलेक्ट्रेट में बात करिए हमारे अस्तर से आपको कुछ नहीं मिलने वाला है।

वहीं कस्बा से सटे शिवनाथ पुर में समाजसेवी राजन पांडेय ने भी बिना मुआबजा के घर गिराए जाने का एतराज किया जहां पर काफी देर तक  गहमा गहमी रही, फिलहाल देखना होगा कि जिनको मुआबजा राशि से भेंट नही हुई है उन्हें कब बुवाबजा मिलेगा , प्रशासन निर्माण की जड़ में आने वाली जगहों को खाली करा रहा है।

समाजसेवी राजन पांडेय ने कहा कि जनता जनप्रतिनिधि इसलिए चुनती है की आप उसकी समस्याओं का निराकरण करें न कि इसलिए कि चंद पैसे प्राइवेट कंपनियों से लेकर उसको सरकारी काम का रूप देकर प्रशासन के दम पर आप लोगों से उनका आवास छीन ले और मुआवजे के तौर पर उनसे मजाक करें ।

रिपोर्टर

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